🧾 सबसे पहले — ब्लॉग की ड्राफ्टिंग (Outline) आपका ब्लॉग “ सिंधु घाटी सभ्यता (Indus Valley Civilization) ” पर होगा, और इसे SEO और शैक्षणिक दोनों दृष्टि से इस तरह ड्राफ्ट किया गया है ।👇 🔹 ब्लॉग का संपूर्ण ढांचा परिचय (Introduction) सिंधु घाटी सभ्यता का उद्भव और समयकाल विकास के चरण (Pre, Early, Mature, Late Harappan) मुख्य स्थल एवं खोजें (Important Sites and Excavations) नगर योजना और वास्तुकला (Town Planning & Architecture) आर्थिक जीवन, कृषि एवं व्यापार (Economy, Agriculture & Trade) कला, उद्योग एवं हस्तकला (Art, Craft & Industry) धर्म, सामाजिक जीवन और संस्कृति (Religion & Social Life) लिपि एवं भाषा (Script & Language) सभ्यता के पतन के कारण (Causes of Decline) सिंधु सभ्यता और अन्य सभ्यताओं की तुलना (Comparative Study) महत्वपूर्ण पुरातात्त्विक खोजें और केस स्टडी (Key Archaeological Cases) भारत में आधुनिक शहरी योजना पर प्रभाव (Legacy & Modern Relevance) निष्कर्ष (Conclusion) FAQ / सामान्य प्रश्न 🏛️ अब ...
• क्रायोजेनिक इंजनों - का अनुप्रयोग रॉकेट प्रौद्योगिकी में किया जाता है । . ताप वस्तु का वह गुण है जो वस्तु के ठण्डेपन या गर्मपन की भाप का प्रकट करता है । ऊष्मा उसे कहेंगे जो भिन्न भिन्न तापों पर रखी दो वस्तुओं के बीच स्थानान्तरित होती है तथा इनको समान ताप पर लाती है । • ऊष्मा एक प्रकार की ऊर्जा है जो दो वस्तुओं के बीच तापान्तर के कारण एक वस्तु से दूसरी वस्तु में बहती है । ऊष्मा ऊर्जा का एक रूप है जिसे कार्य में बदला जा सकता है इसे रमुफोर्ड ने दो बर्फ के टुकड़ों को आपस में रगड़कर सिद्ध कर दिया । • जब कार्य को ऊष्मा में या ऊष्मा को कार्य में बदला जाता है तो किये गये कार्य व उत्पन्न ऊष्मा का अनुपात एक स्थिरांक होता है । . ऊष्मा ऊष्मा के मात्रक एक ग्राम जल का ताप । ° C बढ़ाने के लिए आवश्यक ऊष्मा की मात्रा को कैलोरी कहते हैं । एक ग्राम जल के ताप को 14.5 से 15.53 ° C तक बढ़ाने में प्रयुक्त ऊष्मा की मात्रा को अन्तर्राष्ट्रीय कैलोरी कहते हैं 1 एक किग्रा जल के ताप को 14.5...