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इजरायल ईरान war और भारत ।

इजराइल ने बीते दिन ईरान पर 200 इजरायली फाइटर जेट्स से ईरान के 4 न्यूक्लियर और 2 मिलिट्री ठिकानों पर हमला किये। जिनमें करीब 100 से ज्यादा की मारे जाने की खबरे आ रही है। जिनमें ईरान के 6 परमाणु वैज्ञानिक और टॉप 4  मिलिट्री कमांडर समेत 20 सैन्य अफसर हैं।                    इजराइल और ईरान के बीच दशकों से चले आ रहे तनाव ने सैन्य टकराव का रूप ले लिया है - जैसे कि इजरायल ने सीधे ईरान पर हमला कर दिया है तो इसके परिणाम न केवल पश्चिम एशिया बल्कि पूरी दुनिया पर व्यापक असर डाल सकते हैं। यह हमला क्षेत्रीय संघर्ष को अंतरराष्ट्रीय संकट में बदल सकता है। इस post में हम जानेगे  कि इस तरह के हमले से वैश्विक राजनीति, अर्थव्यवस्था, कूटनीति, सुरक्षा और अंतराष्ट्रीय संगठनों पर क्या प्रभाव पडेगा और दुनिया का झुकाव किस ओर हो सकता है।  [1. ]अन्तर्राष्ट्रीय राजनीति पर प्रभाव:   सैन्य गुटों का पुनर्गठन : इजराइल द्वारा ईरान पर हमले के कारण वैश्विक स्तर पर गुटबंदी तेज हो गयी है। अमेरिका, यूरोपीय देश और कुछ अरब राष्ट्र जैसे सऊदी अरब इजर...

UPSC pre exam questions and it's answer importance : यूपीएससी एग्जाम के लिए कुछ महत्वपूर्ण topic

1. संविधान के अनुच्छेद 243 (0) अंतर्गत पंचायतों के चुनाव में न्यायालय द्वारा हस्तक्षेप का वर्जन संबंधी प्रावधान किए गए इसके अनुसार न्यायालयों को पंचायतों से संबंधित निर्वाचन क्षेत्रों के परिसीमन या स्थानों के आवंटन के संदर्भ में किसी  विधि की विधि मान्यता की परीक्षा करने का अधिकार नहीं है.


                  इसके अतिरिक्त किसी पंचायत के लिए कोई निर्वाचन ऐसी निर्वाचन अर्जी पर प्रश्न गत किया जाएगा जो ऐसे प्राधिकारी को और ऐसी रीति से प्रस्तुत की गई है जिसका किसी राज्य के विधान मंडल द्वारा बनाई गई किसी विधि द्वारा यह उसके अधीन उपबंध किए जाएं अन्यथा नहीं.


( 2). संविधान के अनुच्छेद 52 के तहत भारत में एक राष्ट्रपति का प्रावधान है जिसमें संघ की कार्यपालिका शक्ति निहित होती ह ै . अनुच्छेद 56 में राष्ट्रपति की पद्मावती का उल्लेख किया गया है इसके अनुसार कोई भी व्यक्ति राष्ट्रपति निर्वाचित हो सकता है यदि वह भारत का नागरिक है 35 वर्ष की आयु पूरी कर चुका है तथा लोकसभा सदस्य निर्वाचित होने के लिए योग्य है. राष्ट्रपति का कार्यकाल 5 वर्ष का होता है.

         इसके पूर्व व त्याग पत्र तथा महाभियोग द्वारा हटाया जा सकता है राष्ट्रपति अपना त्यागपत्र उपराष्ट्रपति को सकता है अनुच्छेद 61 में राष्ट्रपति पर महाभियोग चलाने की प्रक्रिया का उल्लेख है अमेरिका के विपरीत भारत में केवल संविधान के अतिक्रमण के खिलाफ महाभियोग चलाया जा सकता है.


( 3).अर्पानेट (arpanet - advance research project agency network) विश्व का पहला (wan - wide area network) है जिसे अमेरिकी defence ministry के लिए विकसित किया गया था. निक नेट (nicnet - national Informatics Centre network) वह है जो भारत के प्रत्येक जिले को जोड़ता है प्रकाश तंतु पूर्ण आंतरिक परावर्तन के सिद्धांत पर कार्य करता है.


( 4).सल्मोनेला टाइफी एक रोग उत्पन्न करने वाला जीवाणु है जो मानव में टाइफाइड ज्वार पैदा करता है। यह रोगजनक जीवाणु संपोषित भोजन और पानी द्वारा छोटी आत में आ जाते हैं तथा वहां से रुधिर द्वारा शरीर के अन्य भागों में पहुंच जाते हैं टाइफाइड बुखार की पुष्टि विडाल परीक्षण द्वारा हो सकती है।


                   मानव में निमोनिया रोग स्ट्रैप्टोकाकस न्यू मोनी तथा हिमोफिलस जैसे इन्फ्यूएन्जी जीवाणुओं के संक्रमण से होता है संक्रमित व्यक्ति की खांसी द्वारा निकले बिंदु को अथवा एयरोसैल सास द्वारा अंदर लेने से स्वस्थ व्यक्ति संक्रमित हो सकता है विचारों का एक ऐसा समूह ना सा विषाणु का है जो मानव में सबसे ज्यादा संक्रामक रोग सामान्य जुखाम फैलाता है।


( 5) 1740 ईस्वी में प्रारंभ में ऑस्ट्रिया के उत्तराधिकार के युद्ध में भारत में भी फ्रांसीसी एवं अंग्रेजों के मध्य युद्ध का प्रारंभ करा दिया 1746 ईस्वी में युद्ध आरंभ हो गया कर्नाटक का प्रथम युद्ध सेन्ट टोमे के युद्ध के लिए भी स्मरणीय है। यह युद्ध फ्रांसीसी सेना तथा कर्नाटक के नवाब अनवर उद्दीन के नेतृत्व में भारतीय सेना के बीच लड़ा गया था।


             कर्नाटक का तृतीय युद्ध यूरोपीय संघर्ष का नतीजा था इसका तात्कालिक कारण था क्लाइव और वाटसन द्वारा बंगाल स्थित चंद्रनगर पर अधिकार इस युद्ध के अंतर्गत अंग्रेज और फ्रांसीसी यों के बीच वाण्डिवाश का युद्ध हुआ था।



( 6) स्तनधारी के पाचन संस्थान में सेल्युलोस का पाचन कराने वाला एंजाइम सैल्युलोस का श्रवण नहीं होता है इनकी छोटी आंत में सेल्युलोस निम्नीकरण जीवाणु उपस्थित होते हैं। इनके द्वारा ही सेड्यूलोस का पाचन होता है.


( 7) कला और साहित्य के विकास की दृष्टि से गुप्त काल को भारतीय इतिहास का क्लासिक युग अथवा स्वर्ण युग भी कहा जाता है स्थापत्य एवं चित्रकला के क्षेत्र में विकास की चरम सीमा गुप्त काल में ही प्राप्त होती है . शिखर युक्त मंदिरों का निर्माण गुप्त काल की सर्वाधिक महत्वपूर्ण उपलब्धि थी इस काल के मंदिरों के निर्माण में छोटी-छोटी ईट तथा पत्थरों का प्रयोग किया जाता था गुप्त शासक वैष्णो मत के पोषक थे अतः उनके समय में भगवान विष्णु की बहुसंख्यक प्रतिमाओं का निर्माण किया गया इस काल की विष्णु मूर्तियां चतुर्भुजी थी इस कॉल में शिव की एक मुखी लिंग की प्रतिमा बनाई गई थी इस काल की शिल्प कला का जन्म विशेषता मथुरा शैली द्वारा स्थापित प्रतिमानो पर आधारित था।


( 8) सामान्य रूप से उपनिषद विश्वास तथा कर्म की अपेक्षा ज्ञान अथवा आत्म साक्षात्कार द्वारा मुक्ति की घोषणा करते थे उसकी आचरण स्वास्थ्य क्रिया सिद्धि वादी सत्यांवेशी तथा दृष्टिकोण से ब्रह्म का साक्षात्कार जिसके माध्यम से होता था वह पुण्य तथा पाप उसका ठीक विलोम अतः पाप एवं पुण्य सर्व व्यापक ब्रह्म में विशिष्ट है और वे सापेक्ष पद मात्र है।


( 9) टारनैडो की उत्पत्ति मिसीसिपी नदी की घाटी में होती है ।टारनैडो मुख्य रूप से संयुक्त राज्य अमेरिका तथा  गौड रूप से आस्ट्रेलिया में उत्पन्न होते हैं इनका आकार एक कीप या छलनी के समान होता है जिसका पतला भाग धरातल से संबंधित होता है चौड़ा भाग ऊपर कपासी वर्षा मेघ से जुड़ा होता है संयुक्त राज्य अमेरिका में किसी खास दिन विभिन्न भागों में जब कई टारनैडो  एक साथ उत्पन्न होते हैं तो उसे टारनैडो निप्लव  कहते हैं टॉरनेडो मुख्य रूप से बसंत कालीन ग्रीष्म काल में उत्पन्न होते हैं।


( 10) कैलाश नाथ मंदिर पर्सी ब्राउन द्वारा कला का सबसे विलक्षण नमूना बताया गया है अपनी समग्रता में 276 फीट लंबा 154 फीट चौड़ा यह मंदिर केवल एक चट्टान को काटकर बनाया गया है इसका निर्माण ऊपर से नीचे की ओर किया गया है. कर्कराज के बड़ौदा अभिलेख में इसे अद्भुत सन्निवेस कहा गया है। लेख में यह भी बताया गया है कि मंदिर को देखकर देवता तक अचंभित रह गए इसकी शैली द्रविड़ प्रकार का है।



( 11) जीवमंडल में वनस्पतियां प्राथमिक उत्पादक होती है जो प्रकाश संश्लेषण के द्वारा कार्बन डाइऑक्साइड और जल को कार्बोहाइड्रेट में बदलती है इस कार्य में जीवमंडल की वनस्पतियां सौर्यिक ऊर्जा के 0.2% भाग का उपयोग करती है। उस्मा गतिकी के प्रथम  द्वितीय नियम के अनुसार जीवमंडलीय पारिस्थितिकी तंत्र में ऊर्जा का प्रवाह नियंत्रित होता है इस नियम के अनुसार किसी भी स्थिर द्रव्यमान वाले तंत्र में ना तो ऊर्जा का सृजन होता है और ना ही उसका विनाश. दूसरे नियम के अनुसार ऊर्जा स्थानांतरण के प्रत्येक बिंदु पर कुछ ऊर्जा का क्षय होता है सीमा कारी कारकों के द्वारा पारिस्थितिकी तंत्र की उत्पादकता कम होती है.


( 12) पारिस्थितिक तंत्र के अनुसार प्रदूषण को जैव निम्नीकरण तथा जैव अनिम्नीकरण रहित दो भागों में बांटा गया है। क्लोनीरित हाइड्रोकार्बन कीटनाशक आदि जैव अनिम्नीकरण प्रदूषक है इनका अपघटन प्राकृतिक द्वारा नहीं हो पाता है और होता भी है तो काफी लंबे समय में यही कारण है कि जैव अनिम्नीकरणीय प्रदूषक को नियंत्रित करना बहुत कठिन कार्य हो जाता है यह अधिकांश मानव निर्मित होते हैं जैसे प्लास्टिक की बेकार बोतले पालिथीन बैग उपयोग किए हुए पेय पदार्थ .

( 13) भारत के संविधान के अनुच्छेद 262 के अनुसार अनुच्छेद अंतर राज्य विवादों के निपटान की व्यवस्था करता है इस प्रावधान के आधार पर संसद में दो कानून बनाए हैं नदी बोर्ड एक्ट ( 1950) और अंतर राज्य जल विवाद एक्ट ( 1950) अब तक केंद्रीय सरकार ने कुल 6 अंतर राज्य जल विवाद ट्रिब्यूनल का गठन किया है इनमें से सबसे पहला कृष्णा जल विवाद ट्रिब्यूनल था जिसकी स्थापना वर्ष 1969 में हुई थी.


( 14) भारत में कृषि एवं उद्योग में परंपरागत तकनीक के प्रयोग के कारण पूंजी उत्पाद अनुपात अत्यंत ऊचा रहा है।जनसंख्या वृद्धि दर भी अत्यंत ऊंची रही है हालांकि पिछले दो दशकों में इसमें गिरावट दर्ज की गई है कमाई के कारण तथा अन्य कई कारणों से बचत की प्रवृत्ति कम पाई जाती है जिसका प्रभाव पूंजी निर्माण पर नकारात्मक रूप से पड़ता है इनके अलावा आर्थिक विकास की गति का धीमा होना भी प्रति व्यक्ति आय वृद्धि दर के निम्न होने का कारण है.



( 15) भारत में पहली बार पांचवी पंचवर्षीय योजना में न्यूनतम आवश्यकता कार्यक्रम को लागू किया गया है इस कार्यक्रम के अंतर्गत निम्नलिखित विषय सामिल किया गया है प्राथमिक एवं प्रोढ शिक्षा ग्रामीण स्वास्थ्य ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल की सुविधा ग्रामीण क्षेत्रों में खेतिहर मजदूरों को मकान बनाने के लिए सहायता सरकारी क्षेत्रों में गंदी बस्तियों को सुधारने के उपाय तथा पौष्टिक आहार की व्यवस्था.


( 16) वर्ष 1946 मैं आए कैबिनेट मिशन ने भारत के भविष्य हेतु जो योजना प्रस्तुत की थी उसके अंतर्गत एक ही राष्ट्र के अंतर्गत तीन स्तरों वाला संघीय ढांचा निर्मित करने की बात कही गई थी यह एक ढीला ढाला संघ होता है जिसमें केंद्र की स्थिति में कमजोर होती है और केंद्र के पास मात्र विदेश रक्षा एवं संचार की जिम्मेदारी होती है इसमें विधान मंडलों को तीन समूहों में बांटे जाने की योजना थी समूह ( अ) मे हिंदू बहुल प्रांतों हेतु समूह ( ब) मे  उत्तर पश्चिमी प्रांत हेतु तथा समूह ( स) असम सहित उत्तर पूर्वी प्रांतों हेतु इसके अंतर्गत एक अंतरिम सरकार की परिकल्पना की गई थी.


( 17) आग्नेय चट्टानों का निर्माण मैग्मा के ठंडा होकर जमघट हो सोने से होता है क्योंकि सर्वप्रथम इसी शैली का निर्माण हुआ था अतः इसे प्राथमिक सेल भी कहते हैं कुल मिलाकर आग्नेय चट्टान ने कठोर होती है तथा जल बड़ी कठिनाइयों से जोड़ों के सारे प्रविष्ट हो पाता है आग्नेय चट्टान रवेदार  तथा दानेदार होती है परंतु रवो की बनावट में पर्याप्त अंतर होता है इनका क्रम भिन्न भिन्न होता है। कणो की बनावट मैग्मा के ठंडा होने की गति तथा स्थान पर आधारित होती है आग्नेय चट्टानों में परते नहीं पाई जाती हैं।


           जब लावा का उद्गार क्रमश   कई बार होता है तो लावे की कई परते एक के बाद एक जमा होती रहती हैं फल स्वरुप परतो की आशंका होने लगती है परंतु वास्तव में परते नहीं होती आग्नेय  शौलों में जीवाश्म नहीं पाए जाते हैं इसका कारण यह है कि इन चट्टानों का निर्माण गर्म एव तरल मैग्मा के ठंडा होने की गति तथा स्थान पर आधारित  होता है यदि प्रारंभ में इन चट्टानों में जीवाश्म हुए होंगे तो उष्णता के कारण नष्ट हो गए होंगे ।आता इसमें जीवाश्म नहीं पाए जाते हैं।



( 18) भरत के नाट्य शास्त्र में 30 से अधिक रागों का उल्लेख किया गया है और तब से इनकी संख्या बहुत अधिक बढ़ गई है क्योंकि सैकड़ों रागों की गणना कर ली गई है शास्त्रीय मतानुसार छह मौलिक राग है शेष रागिनी है जो रागों की पत्नियां मानी जाती है प्राचीनतम रागों की सूची इस प्रकार है :भैरव ,कौशिक, हिंडोल ,दीपक, श्री राग तथा मेघ।



( 20) अप्रैल 1929 में ट्रेड डिस्प्यूट एक्ट आया जिसके द्वारा सभी हड़ताल पर नियंत्रण लगाने की कोशिश की गई वर्ष 1929 के नागपुर अधिवेशन में जब पंडित जवाहरलाल नेहरू ऑल इंडिया ट्रेड यूनियन कांग्रेस के अध्यक्ष थे तो इसका दो भागों में विभाजन हो गया विवाद का मुख्य मुद्दा था एटक (aituc) अंग्रेजों द्वारा नियुक्त रॉयल कमिशन ऑन लेबर का बहिष्कार करेगी या नहीं.


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