सिविल सेवा परीक्षा में भारतीय कला एवं संस्कृति एक महत्त्वपूर्ण विषय है। इसमें भारतीय कला एवं संस्कृति से सम्बन्धित प्रारंभिक परीक्षा तथा मुख्य परीक्षा में यह बहुत ही महत्त्वपूर्ण Topic में रखा गया है। इसमें अगर महत्वपूर्ण Topic की बात की जाये भारतीय वास्तुकला, मूर्तिकला और मृद्भाण्ड, भारतीय चित्रकलायें, भारतीय हस्तशिल्प, भारतीय संगीत से सम्बन्धित संगीत में आधुनिक विकास, जैसे महत्वपूर्ण विन्दुओं को UPSC Exam में पूछे जाते हैं। भारतीय कला एवं संस्कृति में भारतीय वास्तुकला को भारत में होने वाले विकास के रूप में देखा जाता है। भारत में होने वाले विकास के काल की यदि चर्चा कि जाये तो हड़प्पा घाटी सभ्यता से आजाद भारत की कहानी बताता है। भारतीय वास्तुकला में राजवंशों के उदय से लेकर उनके पतन, विदेशी शासकों का आक्रमण, विभिन्न संस्कृतियों और शैलियों का संगम आदि भारतीय वास्तुकला को बताते हैं। भारतीय वास्तुकला में शासकों द्वारा बनवाये गये भवनों की आकृतियाँ [डिजाइन] आकार व विस्तार के...
मानव रहित गगनयान की उड़ान अब 2021 के अंदर तक संभव
अंतरिक्ष में मानव युक्त अंतरिक्ष उड़ानों की योजना को कार्यान्वित करने की दिशा में कदम आगे बढ़ाते हुए भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन इसरो पहले दो मानव रहित गगनयान ओं का प्रक्षेपण करेगा ऐसे पहले क्रू लैस गगन यान का प्रक्षेपण 2020 में किया जाना प्रस्तावित था जो करो ना संक्रमण के कारण निलंबित हुआ है पहले क्रू लैस गगनयान का प्रक्षेपण अब 2021 के अंत तक संभावित है स्वदेश विकसित रोबोट व्योम मित्र को इस उड़ान के जरिए अंतरिक्ष में भेजने की शुरू की योजना है यह महिला रूपी रोबोट बिल्कुल इंसानों की तरह व्यवहार करते हुए अंतरिक्ष में रिपोर्ट इसरो को भेजेगा ऐसा दूसरा ग्रुप है सन 2022 में लांच किया जाएगा।
दो मानव रहित उड़ानों के पश्चात ही मानव युक्त गगनयान के प्रक्षेपण की इसरो की योजना है यह प्रक्षेपण इसरो के स्वदेश निर्मित भू स्थैतिक प्रक्षेपण यान जीएसएलवी MK3 के जरिए किया जाएगा गगनयान को कम से कम 7 दिन तक 300 से 400 किलोमीटर की निम्न पृथ्वी कक्षा नव युक्त गगनयान की उड़ान के लिए संभावित अंतरिक्ष यात्रियों का चयन इसरो द्वारा कर लिया गया है जिन्हें रूस में इसके लिए प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
पीएसएलवी सी 49 के जरिए अर्थ ऑब्जर्वेशन सेटेलाइट्स ई ओ एस जीरो 1 का प्रक्षेपण
ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान पीएसएलवी c48 की उड़ान के लगभग 1 वर्ष पश्चात भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन एक नए पृथ्वी अवलोकन उपग्रह अर्थ ऑब्जर्वेशन सेटेलाइट as01 का प्रक्षेपण 7 नवंबर 2020 को किया यह प्रक्षेपण श्रीहरिकोटा स्थित सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से ध्रुव उपग्रह प्रक्षेपण यान पोलर (polar satelite lunch vehicle )सैटलाइट लॉन्च व्हीकल पीएसएलवी 49 के जरिए किया गया इसके साथ ही 9 छोटे विदेशी उपग्रहों का भी प्रक्षेपण पीएसएलवी की इस उड़ान के द्वारा किया गया इनमें लिथुआनिया का एक लक्जेमबर्ग के चार और अमेरिका के चार उपग्रह शामिल थे विदेशी उपग्रहों का प्रक्षेपण केंद्र सरकार की न्यू स्पेस इंडिया लिमिटेड के साथ वाणिज्यिक अनुबंध के तहत किया गया है.
पृथ्वी अवलोकन उपग्रह (earth observation satellite - eOS - 01) श्रंखला इसरो के पूर्व भर्ती रीसेट श्रंखला के उपग्रहों की नई उन्नत श्रंखला है इस श्रंखला से इसरो ने अपने अर्थ ऑब्जर्वेशन सेटेलाइट का नामकरण ईओएस श्रंखला के करना शुरू कर दिया है इसी के चलते 7 नवंबर 2020 को प्रक्षेपित राडार इमेजिंग अर्थ ऑब्जर्वेशन सेटेलाइट्स जिसे रीसेट 2br 1 नाम पहले रामकरण as01 किया गया है इससे पूर्व इसरो के पिछले अर्थ ऑब्जर्वेशन सैटेलाइट को रीसेट तू भी आराम दिया गया था उसका प्रक्षेपण पीएसएलवी c48 के जरिए 11 दिसंबर 2019 को किया गया था नया प्रक्षेपित अर्थ ऑब्जर्वेशन सेटेलाइट्स EOS - 01 हर मौसम में पृथ्वी पर नजर रखने में सक्षम है कृषि वानिकी आपदा प्रबंधन के अतिरिक्त सीमा पर निगरानी रखने में भी यह सहायक होगा.
eOS 0 1 ka prakshepan lagbhag ek varsh ke antaral ke pakshat Bharat Ki Dharti se ISRO ka koi upgrah prakshepan tha iSRO ka koi upgrah prakshepan isase purv 2019 December mein pSLV C 48 ki Udan dwara reset 2 br1 ka November 2019 Mein PSLV C 47 ki Udan dwara cartosat 3 ka prashn ISRO ne kiya tha bad Mein January 2020 Mein ISRO ke Sanchar upgrah gset 30 ka hua tha Kintu yah prakshepan Europe ki Alien Space company ke Aryan 5 rocket ke jarie French Guiana ke karu sthit prakshepan Kendra Se Kiya gaya tha.
Pinaka ke Unna sanskaran ke parikshan ke pakshat quick reaction surface to air Missile system ke Safal parikshan:
bharat ki Sainya Shakti Mein vriddhi ke Ek Aur Prayas ke tahat Raksha Anusandhan evam Vikas Sangathan (defence Research and development organisation - dRDO) ने जमीन से आकाश में मार करने वाली quick reaction surface to air missile k2 परीक्षण कक्षा 12 व 17 नवंबर 2020 को किए यह दोनों ही परीक्षा उड़ीसा के तट पर चांदीपुर स्थित एकीकृत परीक्षण रेंज integrated test range se kiye Gaye tatha inke dwara Aakash mein pilot Rahi Thi Ek Lakshman Ji Se Bansi Naam Diya gaya tha per Sidha Prahar Kiya Gaya Kyon r s a m Hathiyar Pranali ke battery youth Bhav Aaya Mera Dar battery yukt nigrani radar battery yukt command post vahan vah Mobile launcher Jaise sabhi tatvon ko in parikshan udanon mein tainat kiya gaya tha Raksha Mantralaya ki vigyapti ke anusar parikshan ke dwara Nagar ne Dur ki range Se Hi Lakshya ko to Holiya tatha Lakshya Ke Mara Kshetra Ke bhitar Aane per missile ko Daag Diya.
क्यू आर एस ए एम के उपयुक्त परीक्षणों से पूर्व नवंबर माह में ही रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन द्वारा देश में ही विकसित पिनाका रॉकेट लॉन्चिंग प्रणाली के उन्नत संस्करण का एक परीक्षण उड़ीसा के बालासोर जिले के चांदीपुर स्थित एकीकृत परीक्षण रेंज से ही 4 नवंबर 2020 को किया गया था इस परीक्षण के तहत लगातार छह राकेट छोड़े गए जो लक्ष्य को भेदने में सफल रहे पिनाका का यह उन्नत संस्करण मौजूदा पिनाका mk1 रॉकेट लॉन्चिंग सिस्टम का स्थान लेगा.
स्कॉर्पियन श्रेणी की पांचवी पनडुब्बी वागीर का जलावतरण
भारतीय नौसेना के लिए तैयार की जा रही स्कॉर्पियन श्रेणी की एक पनडुब्बी वागीर का जलावरण मुंबई स्थित मजगांव गोदी में 11 नवंबर 2020 को किया गया रक्षा मंत्रालय मंत्री श्रीपद नाईक की पत्नी विजया ने यह जलावरण वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए किया फ्रांसीसी नौसैनिक कंपनी के साथ अक्टूबर 2005 में हस्तांतरित प्रयोग की हस्ताक्षर समझौते के तहत मझगांव डॉक शिपबिल्डर्स लिमिटेड द्वारा प्रोजेक्ट 75 के तहत बनाई जाने वाली यह पांचवीं पनडुब्बी है एमडीएल के अनुसार अनार की नजर से बचने में सक्षम यह स्टील टारपीडो के हमले करने के साथ-साथ ट्यूब से लांच की जाने वाली पोत रोधी मिसाइलों को पानी के अंदर से और सतह से भी छोड़ सकती है।
इस श्रेणी की पहली पनडुब्बी आईएनएस कलवरी थी जिसे 14 सितंबर 2017 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने औपचारिक रूप से भारतीय नौसेना में शामिल किया था खंडेरी इस श्रेणी की दूसरी पनडुब्बी है जिसे रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने 28 सितंबर 2019 को मुंबई में आयोजित समारोह में नौसेना में औपचारिक रूप से शामिल किया था इस श्रेणी की तीसरी पनडुब्बी करंज का जलावरण 31 जनवरी 2018 को तथा चौथी पनडुब्बी मेला का जन्म उत्तरण 6 मई 2019 को किया गया था इन दोनों के समुद्री परीक्षण जारी है जिसके पश्चात इन्हें नौसेना में शामिल किया जाएगा स्कॉर्पियन श्रेणी की छठी और अंतिम पनडुब्बी वागशीर है जो अभी मझगांव डॉक शिवबिल्डर्स में निर्माणाधीन है।
मिशन सागर टू के तहत मित्र राष्ट्रों को आवश्यक खाद आपूर्ति की
प्राकृतिक आपदाओं व कोविड-19 हमारी से जूझ रहे मित्र राष्ट्रों का आवश्यक खाद्य सामग्री व दवाइयां उपलब्ध कराने के लिए विदेश मंत्रालय व रक्षा मंत्रालय के सहयोग से मिशन सागर फर्स्ट अभियान मई-जून 2020 में संपन्न किया गया था जिसके तहत मालदीप मारीशस से सेल्स मडगास्कर व कोमोरोस को ऐसी आवश्यक सामग्री की आपूर्ति की गई थी इसके लिए नौसेना के आई एन एस केसरी की सेवाएं ली गई थी मिशन सागर अभियान के दूसरे चरण में संसाधन द्वितीय के तहत सूडान दक्षिण सुदान जिबूती व इरिट्रिया को आवश्यक खाद्य पदार्थों व दवाइयों की आपूर्ति अक्टूबर नवंबर 2020 में की गई है भारतीय नौसेना के आई एन एस ऐरावत के जरिए यह आपूर्ति प्रधानमंत्री के सागर विजन के तहत की गई है।
ब्रह्मोस मिसाइल लैंड अटैक वर्जन का परीक्षण
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन ने रूस के सहयोग से विकसित ब्रह्मोस मिसाइल के लैंड अटैक वर्जन का एक परीक्षण 24 नवंबर 2020 को किया है यह परीक्षण अंडमान निकोबार दीप समूह के एक द्वीप से किया गया जिसके तहत एक अन्य वीरान भी ऊपर निर्धारित किए गए लक्ष्य को इस ने निशाना बनाया इस मिसाइल के अनेक परीक्षण पहले भी यद्यपि किए जा चुके हैं 24 नवंबर के परीक्षण का मुख्य उद्देश्य मिसाइल की रेंज बाग गति में वृद्धि करना था मिसाइल की मारक क्षमता को 290 किलोमीटर से बढ़ाकर 400 किलोमीटर किया गया इसकी गति को 2.8 मैक तक बढ़ाया गया जमीनी सतह के अतिरिक्त लड़ाकू विमान युद्धपोत हुआ यहां तक कि पनडुब्बी से भी इस्तेमाल किया जा सकता है ब्रह्मोस मिसाइल के जमीनी संस्करण का एक परीक्षण 30 सितंबर 2020 को बालासोर स्थित एकीकृत परीक्षण रेंज से तथा नौसैनिक संस्करण का एक परीक्षा अरब सागर में 18 अक्टूबर 2020 को नौसेना की आई एन एस चेन्नई द्वारा तथा एक और नौसैनिक संस्करण का परीक्षण 1 अक्टूबर को किया गया था 30 अक्टूबर को उसके हवा में मार करने वाले संस्करण का परीक्षण सुखोई से किया गया रूस के सहयोग से विकसित ब्रह्मोस मिसाइल का नामकरण भारत की ब्रह्मपुत्र और रूस की मोस्क्वा नदियों के नाम पर किया गया।
मीडिया रिपोर्टों के अनुसार ब्रह्म मोस्ट की घातक मारक क्षमता को देखते हुए कुछ देशों ने इसे भारत से खरीदने में रुचि व्यक्त की है रूस के सहयोग से विकसित होने के कारण इसके निर्यात हेतु रूस की सहमति आवश्यक थी मीडिया रिपोर्टों में बताया गया है कि रूस ने भारत को यह अनुमति प्रदान कर दी है इससे शीघ्र ही इसके निर्यात की भी संभावना है।
भारत के आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सुपर कंप्यूटर परम सिद्धि को विश्व के सर्वाधिक शक्तिशाली 500 नान डिस्ट्रीब्यूटर सुपर कंप्यूटर प्रणालियों में 63 वा स्थान -
राष्ट्रीय सुपर कंप्यूटर मिशन के तहत निर्मित परम सिद्धि आई को शक्तिशाली 509 डिस्ट्रीब्यूटर सुपर कंप्यूटर ओं की सूची में 63 वां स्थान प्राप्त हुआ है केंद्र सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग की 18 नवंबर 2020 की विज्ञप्ति में बताया गया है कि सेंटर फॉर डेवलपमेंट आफ एडवांस्ड कंप्यूटिंग द्वारा राष्ट्रीय सुपरकंप्यूटिंग मिशन के तहत विकसित परम सिद्धि आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस सुपर कंप्यूटर मौसम पैकेज की जांच की निकासी के लिए जियो एक्सप्लोरेशंस एडवांस मैटेरियल इन कंप्यूटर एप्लीकेशन डेवलपमेंट करने वालों के लिए इस सुपर कंप्यूटर को एक वरदान बताया गया है मंत्रालय की 18 नवंबर 2020 की विज्ञप्ति में परम सिद्धि को विज्ञान और टेक्नोलॉजी नवाचार के जरिया आत्मनिर्भरता की हमारी यात्रा में महत्वपूर्ण कड़ी बताते हुए कहा गया है कि इससे हमारे राष्ट्रीय कार्ड में तथा विज्ञान एवं अनुसंधान संस्थान मजबूत होंगे इसके साथ-साथ राष्ट्रीय ज्ञान नेटवर्क पर फायदे उद्योगों व स्टार्टअप को भी लाभ होगा विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय की विज्ञप्ति के अनुसार परम सिद्धि की रैंकिंग ने यह साबित कर दिया है कि सुपर कंप्यूटर के क्षेत्र में भारत विश्व की सबसे बड़ी और संरचनाओं के केंद्र में से एक है.
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